करनाल /दीपाली धीमान : चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के अंतर्गत विस्तार शिक्षा संस्थान नीलोखेड़ी में कृषि विस्तार हेतू संचार एवं प्रस्तुतीकरण कौशल विषय पर चल रहे चार दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आज समापन हुआ। समापन समारोह की अध्यक्षता संस्थान के क्षेत्रीय निदेशक डा. संजय कुमार ने की।
उन्होंने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि किसी भी विस्तार अधिकारी को पारस्परिक संबंध, अनुकूलनशीलता, सहानुभूति, वैज्ञानिक दृष्टिकोण, नेतृत्व क्षमता, निर्णय कौशल इत्यादि की व्यवहारिक जानकारी होना अनिवार्य है। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के माध्यम से विस्तार अधिकारियों को आधुनिक संचार माध्यम, जैसे ए. आई., आई. ओ. टी., जी. आई. एस., मोबाइल एप्लीकेशन, क्रॉप एक्सपर्ट सिस्टम इत्यादि के उपयोग संबंधी जानकारी भी दी गई है।
क्षेत्रीय निदेशक ने कहा की विस्तार कार्यक्रमों को प्रभावशाली तरीके से लागू करने के लिए विस्तार अधिकारियों को संचार कौशल में निपुण होना चाहिए एवं बोलचाल की भाषा में किसानों को संदेश देने में भी पारंगत होने की आवश्यकता है। इसी को ध्यान में रखते हुए इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया है।
इस दौरान डा. कुमार ने बताया कि यह संस्थान वाईस-चांसलर प्रोफेसर बी. आर. कांबोज, चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के नेतृत्व में उत्तर भारत के राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों के कृषि, उद्यान, पशुपालन, मत्स्य पालन, वानिकी, महिला एवं बाल विकास इत्यादि विभागों के विस्तार अधिकारियों को प्रशिक्षण देने का काम कर रहा है।
वित्तीय सहयोग देने के लिए विस्तार निदेशालय, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार की सराहना की। उन्होंने विस्तार शिक्षा निदेशक डा. बलवान सिंह मंडल का भी धन्यवाद किया। इस दौरान प्रतिभागियों ने प्रशिक्षण के बारे में अपना फीडबैक देते हुए संस्थान के मानव संसाधन एवं सुविधाओं की बड़ी प्रशंसा की।
प्रशिक्षण संयोजक डा. भरत सिंह ने कहा कि सत्त कृषि विकास के लिए फार्मर फील्ड स्कूल एवं फार्म स्कूल का उपयोग अधिक से अधिक करने की आवश्यकता है।
उन्होंने बताया कि प्रशिक्षण में हरियाणा, झारखंड, बिहार एवं उत्तर प्रदेश के विस्तार अधिकारियों ने हिस्सा लिया है। प्रशिक्षण के दौरान विस्तार अधिकारियों को उप उष्णकटिबंधीय फल केंद्र, लाडवा का भ्रमण भी करवाया गया।
उन्होंने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान विभिन्न संस्थानों से व्याख्यानों के लिए विशेषज्ञों को भी आमंत्रित किया गया था जिन्होंने प्रशिक्षण विषय संबधी व्याख्यान दिए। समापन कार्यक्रम के दौरान प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र वितरित किए गए। इस दौरान संस्थान के सभी कर्मचारी एवं प्रतिभागी मौजूद रहे।