करनाल: करनाल शहर में सौंदर्यीकरण की एक नई परियोजना ने स्थानीय लोगों और राहगीरों के बीच बहस छेड़ दी है। शहर के होटल ज्वेल्स के सामने वाली एक व्यस्त सड़क पर, पहले से बिछी हुई और अच्छी हालत में मौजूद टाइलों को उखाड़ा जा रहा है, ताकि उनकी जगह एक नया साइकिल ट्रैक बनाया जा सके।
इस कार्य को लेकर शुरुआत में लोगों में भ्रम की स्थिति थी कि अच्छी-खासी सड़क को क्यों खराब किया जा रहा है। हालाँकि, मौके पर मौजूद साइट इंजीनियर ने स्पष्ट किया कि यह काम नगर निगम द्वारा शहर की ‘ब्यूटीफिकेशन’ (सुंदरता बढ़ाने) परियोजना के तहत किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि इस क्षेत्र में केवल साइकिल ट्रैक ही नहीं, बल्कि सीटिंग एरिया (बैठने की जगह) और नया फुटपाथ भी विकसित किया जाएगा, और यह परियोजना माल रोड तक आगे बढ़ाई जाएगी।
व्यावहारिकता पर स्थानीय लोगों के सवाल
परियोजना के उद्देश्य (शहर की सुंदरता बढ़ाना) के बावजूद, स्थानीय नागरिकों और व्यापारियों ने इसकी व्यावहारिकता पर गंभीर सवाल उठाए हैं। सड़क के इस हिस्से की एक बड़ी समस्या यह है कि यह नियमित रूप से वाहनों की पार्किंग के लिए इस्तेमाल होता है। सड़क के दोनों किनारों पर हर समय गाड़ियाँ, मोटरसाइकिलें और रेहड़ियाँ खड़ी रहती हैं, जिससे पैदल चलने वालों और साइकिल चालकों के लिए जगह ही नहीं बचती।
नागरिकों का कहना है कि अगर यहाँ साइकिल ट्रैक बना भी दिया जाता है, तो पार्किंग की समस्या के कारण इसका उपयोग साइकिल चलाने के लिए नहीं हो पाएगा, और यह अंततः एक और पार्किंग स्थल बन जाएगा। लोगों ने तर्क दिया है कि जिस सड़क की टाइलें पहले से ही अच्छी थीं और जिस पर जरूरत पड़ने पर साइकिल चलाई जा सकती थी, उसे उखाड़ने की क्या आवश्यकता थी?
प्रशासन को करना होगा पार्किंग का समाधान
नगर निगम के अधिकारी परियोजना को शहर की सुंदरता और नागरिकों को बेहतर सुविधा देने के प्रयास के रूप में देख रहे हैं। साइट इंजीनियर ने पुष्टि की कि पुरानी टाइलों को हटाकर उनकी जगह साइकिल ट्रैक के लिए विशेष टाइलें लगाई जाएँगी।
यह मामला प्रशासन के सामने एक बड़ी चुनौती खड़ा करता है: केवल भौतिक संरचना (साइकिल ट्रैक) का निर्माण ही पर्याप्त नहीं है, बल्कि उसके उपयोग के लिए अनुकूल माहौल तैयार करना भी ज़रूरी है। यदि नगर निगम पार्किंग की समस्या का कोई ठोस और प्रभावी समाधान नहीं निकालता है, तो लाखों रुपये खर्च करके बनाया गया यह नया साइकिल ट्रैक अपने मूल उद्देश्य में सफल नहीं हो पाएगा। लोगों ने अपील की है कि सौंदर्यीकरण की परियोजनाओं के साथ-साथ, उनका उचित प्रबंधन और उपयोग सुनिश्चित करने के लिए लोगों में जागरूकता भी फैलाई जाए।