(रिपोर्ट – कमल मिड्ढा): करनाल में कल मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कार्यकर्ताओं के सम्मान व उनके अभिनंदन के लिए एक अभिनंदन रैली का जो आयोजन किया उसमें दो ऐसे घटनाक्रम हुए जो कल से मीडिया की सुर्ख़ियों में बने हुए है !
पहला सेल्फी प्रकरण – कल सी एम सिटी करनाल की नई अनाज मंडी में आयोजित लोकसभा चुनावों में भारी भरकम जीत के बाद हुए अभिनंदन समारोह का आयोजन किया गया था जिसमे मुख्यमंत्री ने आते ही जहाँ पहले तो पिछले 40 मिनट से बाहर मुख्यमंत्री के स्वागत में खड़े 90 प्रमुख कार्यकर्ताओ से मुलाकात नहीं कि ओर नाहीं उनसे कमल का फूल लिया उसके बाद सीधा अंदर आते ही मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कार्यकर्ताओं के बीच मे जाकर उनपर फूल बरसाने शुरू कर दिए इतने में ही एक कार्यकर्ता मुख्यमंत्री के सामने आया और पैर छूकर जब सेल्फी लेने लगा तो मुख्यमंत्री जी को गुस्सा आया ओर उन्होंने उसका हाथ पकड़ पीछे कर दिया और उसे वाह से जाने के लिए कह दिया ,जिसके बाद इसका लाईव वीडियो कल दिनभर सोशल मीडिया व न्यूज चैनल्स पर चलता रहा !
दूसरा मामला – 90 कमल के फूल हाथ मे ही लेकर खड़े राह गए 90 प्रमुख कार्यकर्ता – सी एम ने कहाँ यह क्या सिस्टम है
कल पहली बार मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को देने के लिए जिला करनाल भाजपा ने विशेष ऑर्डर पर 90 कमल के फूलों का अरेंजमेंट किया गया था !
90 की 90 विधानसभा सीटों पर कमल का फूल खिले इसलिये किया गया था यह विशेष इंतजाम ताकि मुख्यमंत्री जी का स्वागत अलग अंदाज में किया जा सके !
90 प्रमुख कार्यकर्ताओ में सभी पार्षद ,ब्लॉक प्रधान ,हल्का प्रधान ,पन्ना प्रमुख समेत जिला भाजपा के कई स्थानीय नेता भी शामिल थे जो 40 मिनट से योजनाबद्ध तरीके से L शेप में कतार बनाकर खड़े हुए थे ताकि जैसे ही मुख्यमंत्री आये तो एक एक कार उन्हें वह एक एक विधानसभा जितने के लिए एक एक कमल का फूल दे ,लेकिन हुआ कुछ और जिसके बारे में कार्यकर्ताओं को अंदेशा ही नही था !
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर कार से उतरते ही यह सिस्टम देख थोड़ा नाराज हुए और सभी को कहाँ यहाँ न खड़े हो अंदर जाकर बैठे ,जिसके बाद सभी कार्यकर्ता जिनके हाथ मे कमल का फूल था वह उनके हाथों में ही राह गया जिसे वह मुख्यमंत्री जी को देने के लिए लाए थे !
स्टेज पर बैठे विधायकों व सीनियर नेताओ के भी हाथ मे ही रह गए कमल के फूल – जैसे ही मुख्यमंत्री जी स्टेज पर पहुँचे उस दौरान असंध विधायक सरदार बक्शीश सिंह व पूर्व उधोग मंत्री शशि पाल मेहता खड़े हुए मुख्यमंत्री को फूल देने लेकिन उन्हें भी बिठा दिया गया वही दूसरे कई बड़े नेताओं के हाथों में भी फूल थे जिसके बाद उनकी भी हिम्मत नही हुई कि वह सी एम साहब को फूल दे ,90 के 90 कमल के फूल जो पार्टी का सिंबल भी है वह सभी नेताओं के हाथों में ही रह गए !