November 3, 2024

जैसा की आप जानते है हर साल गरीब बच्चो को निजी स्कूलों में फ्री दाखिले के लिए परीक्षा ली जाती है लेकिन परीक्षा पास करने के बावजूद भी काबिल बच्चो को निजी स्कूल दाखिला देने में बांधाएं डालते है। इसे अंदेशे में अभिभावक एकता संघ द्वारा विरोध जताए जाने के बाद 134-ए के परीक्षा परिणाम को स्थगित कर दिया गया है। जिला शिक्षा अधिकारी की ओर से सभी खंड शिक्षा अधिकारियों को पत्र जारी किया गया है कि जिसमें कहा गया कि 18 अप्रैल को परिणाम घोषित किया जाना था, लेकिन आय प्रमाण पत्र से संबंधित भ्रांतियों के कारण परिणाम पर आगामी आदेशों तक रोक लगा दी गई है।

बुधवार को 134ए के तहत परीक्षा देने वाले बच्चों का रिजल्ट आन था लेकिन सैंकड़ों बच्चों को दस्तावेजों के नाम पर अयोग्य घोषित करने की आशंका के चलते अभिभावक एकता संघ ने रिजल्ट जारी करने पर रोक लगवा दी। दरअसल इस बार करीब 3850 बच्चों ने परीक्षा दी है जबकि करनाल में निजी स्कूलों के पास सेक्शन 134ए में करीब 6 हजार सीटें हैं। बच्चों को स्कूलों में दाखिलें के लिए कई पैमाने रखे गए हैं।

पहला पैमाना तो ये हैं कि बच्चे के अभिभावकों की कुल सालाना आय दो लाख रुपए से अधिक नहीं होनी चाहिए। दूसरा परीक्षा में 55 प्रतिशत अंक लेने वाले को ही 134ए का लाभ मिल सकेगा। तीसरा पैमाना ये भी है कि बच्चों के पास आय, हरियाणा निवासी का प्रमाण पत्र होना जरुरी है। आज खंड शिक्षा अधिकारी के बाहर रिजल्ट की इंतजार में पहुंचे अभिभावक परेशान दिखे और सवाल किया कि क्या गरीब के बच्चों को पढऩे का हक नहीं है।

एक विधवा महिला ने बताया कि पैसे न देने की वजह से पिछले साल उनके बच्चे को निजी स्कूल में परीक्षा नहीं देने दी गई। उनका कहना था कि उनके बच्चें कहते हैँ कि क्या हमें पढऩे का अधिकार नहीं है? इधर अभिभावक एकता संघ के दिनेश नरुला और नवीन अग्रवाल ने कहा है कि शिक्षा माफिया का बड़ा माफिया सक्रिय है। उन्होंने कहा कि हर साल अलग-अलग मद्दों के नाम पर निजी स्कूल अभिभावकों से करोड़ों रुपए अवैध तौर पर वसूलते हैं।

उन्होंने कहा कि उन्होंने विभाग से अनुरोध कर रिजल्ट रुकवाया है क्योंकि सैंकड़ों बच्चें ऐसे हैं जिन्होंने परीक्षा तो दे दी है लेकिन अपने दस्तावेज जमा नहीं करा सकें हैं। उन्हें दस्तावेज जमा कराने का वक्त दिया जाना चाहिए। अगर रिजल्ट घोषित किया जाता है तो सैंकड़ों बच्चें योगय होने के बावजूद इस आधार पर बाहर कर दिए जाएंगे कि उन्होंने दस्तावेज जमा नहीं कराएं हैं।

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