April 26, 2024
  • लाठीचार्ज में घायल हुए किसानों से मिलने हॉस्पिटल पहुंचे किसान नेता राकेश टिकैत , हरियाणा सरकार की तुलना तालिबान सरकार से क्यों की
  • कल बनाएंगे रणनीति , इस लाठीचार्ज से किसान आंदोलन को मिलेगी मजबूती

करनाल पहुँचे किसान नेता राकेश टिकैत , कल बसताड़ा टोल पर पुलिस द्वारा किये गए लाठीचार्ज में घायल हुए किसानों का जाना हाल, टिकैत ने किसानों पर हुए लाठीचार्ज का आदेश देने वाले अधिकारी को दिया सरकारी तालिबानी का दर्जा, ऐसे अधिकारी की पोस्टिंग नक्सली क्षेत्र में होनी चाहिए।

ऐसे अधिकारी के खिलाफ जब तक कार्यवाही नही होती किसान चेन से भी बैठगा , कहा पूरे देश में भुगतना पड़ेगा सरकार को इसका खामियाजा, कल होगी करनाल में किसानों नेताओ की पंचायत !

करनाल में कल स्थानीय निकाय व पंचायती राज चुनाव को लेकर बीजेपी की प्रदेश संगठन की बैठक रखी गई थी, मुख्यमंत्री समेत बीजेपी के तमाम मंत्री, विधायक , सांसद बैठक में शामिल हुए थे। किसानों ने पहले से ही बीजेपी के नेताओ का विरोध करने का आह्वान किया हुआ था, नेताओ का विरोध करने के लिए किसान बसताड़ा टोल प्लाजा पर कल सुबह इकठा हुए थे।

नेताओ का विरोध करने के लिए किसान बसताड़ा टोल पर धरना देकर बैठ गए, पुलिस ने किसानों को सड़क खाली करने को कहा लेकिन किसान नही हटे। जिसके बाद पुलिस द्वारा किसानों पर लाठीचार्ज किया गया, किसानों को धरना स्थल से हटाया गया , किसान फिर से जमा हुए पुलिस ने फिर से किसानों पर बल प्रयोग किया , तीन बार हुए लाठीचार्ज में कई किसान घायल हो गए।

कुछ पुलिस कर्मियों को भी चोटे लगीं, कुछ किसानों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया था। किसान नेता गुरुनाम सिह बसताड़ा टोल पर पहुँचे उन्होंने साथी किसानों को रिहा कराने के लिए प्रदेश भर में सड़कों को जाम करने की आह्वान किया जिसका असर कल देखने को मिला, देर शाम पुलिस द्वारा हिरासत में लिए गए किसानों को रिहा किया गया।

वही आज लाठीचार्ज में घायल किसानों का हाल जाने के लिए किसान नेता राकेश टिकैत पहुँचे। टिकैत ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा सरकार टकराव की स्थिति चाहती है, आने वाले दिनों में इसका खामियाजा सरकार को पूरे देश में भुगतान पड़ेगा।

टिकैत ने दोषी अधिकारी तथा सर फोड़ने वाले अधिकारी को सरकारी तालिबानी अधिकारी का दर्जा देते हुए दोषी अधिकारी के खिलाफ कार्यवाही की मांग की, उन्होंने कहा कल करनाल में किसान नेताओ की पंचायत होगी उसमे आगामी रणनीति तय की जाएगी, फैसला लिया जाएगा, वही लाठीचार्ज में घायल हुए किसानों का भी यही कहना जब तक आंदोलन चलता रहेगा तब तक हम पीछे नहीं हटेंगे। चाहे इसके लिए हमे जान भी कियो न देनी पड़े।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.