- तेज बारिश के बीच भाजपा जजपा सरकार के घोटालों के खिलाफ कांग्रेस सड़कों पर उतरी
- मिनी सचिवालय के बाहर किया प्रदर्शन दिया राज्यपाल केनाम ज्ञापन
- हाई कोर्ट के जज से सभी घोटालों की जांच करवाने की मांग की
- बारिश के बीच कांग्रेंस नेताअबों का उत्साह नहीं हुआ कम
करनाल: करनाल जिला कांग्रेस ने आज तेज बारिश के बीच प्रदेश में भाजपा और जजपा राज में हुए शराब और रजिस्ट्रियों के साथ अन्य क्षेत्रों में हुए घोटाले की जांच करवाने की मांग को लेकर जिला मुख्यालय स्थित मिनी सचिावालय के बाहर प्रदर्शन किया। इस अवसर पर ककांग्रेस के प्रतिनिध मेडल ने एडीसी अशोक बंसल को राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपा।
इसमें प्रदेश हुए शराब और रजिस्ट्री घोटाले की हाई कोर्ट के मौजूदा जज से जांच करवाने की मांग की। कांग्रेस कार्यकत्र्ताओं की अगुवाईअसंध से विधायक शमशेर सिंह गोगी कांग्रेस के जिला संयोजक तरलोचन सिंह, कर रहे थे। पहले आज सुबह मिनी सचिवालय के बाहर कांग्रेस के हजारों कार्यकत्र्ता एकत्रित हुए। उसके बाद उन्होंने प्रदेश सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया।
प्रदर्शन के दौरान यह रहे मौजूद
इस अवसर पर कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव बिरेंद्र सिंह राठौर, इंद्री से कांग्रेस की प्रत्याशी रहीं डा. नवजोत कश्यप, नीलोखेड़ी से कांग्रेस के प्रत्याशी रहे बंता राम वाल्मीकि,ललित बुटाना, राम शरण भोला, डा. सुनील पंवार, सुरजीत चेयरमैन, राजेंद्र कल्याण, कृष्ण बसताड़ा, जांगिंदर नली, कुंलवंत सिंह कलैर, नैनपाल राणा, पवन शाहपुर, राजवीर चौहान, राजेश चौधरी,,सुरेश भारद्वाज,नरेश संधु,रूप नरूला, जसवंत सिंह भगवंत सियंह भाम्बा, अरुण पंजाबी, अमरजीत धीमान, मुनीष परवेज राणा, विनोद तितोरया, सपना राणा, रोहित जोशी, प्रेम मलवानिया, कर्मपाल वालकिशन शर्मा, प्रमोद शर्मा, परमजीत भारद्वाज, अमरजीत कादियान,होशियार सिंह,धर्मपाल कौशिक, डा. फतेह चंद्र,परमजीत वाल्मीकि, ब्रजेद्र सैनी, जितेंद्र पांचाल,सुनहरा राम, सुरेंद्र, कालेखां, अनिल शर्मा, नरेंद्र अग्धी, गगन मैहता, कृष्ण गहलौत, दिनेश सैन, जोगिंदर वाल्मीकि, विनोद शर्मा, दलवीर, दिनेश, मग्गर सिंह सरंपच,अनंत सिंह, दिनेश गवला,संभाष गुप्ता, राजेंद्र भोला, महेंद्र भोला, मौजूद थे।
ज्ञापन में रही यह प्रमुख मांगे
ज्ञापन में कहा गया कि प्रदेश एक तरफ भयावह कोरोना महामारी से लडाई लड रहा है, वहीं दूसरी ओर प्रदेश में घोटालों को अंजाम देकर खुलेआम लूट की गई है। कोरोना महामारी/लॉकडाउन के बीच हरियाणा प्रदेश में कई घोटालों को अंजाम दिया गया है।
हरियाणा में भाजपा – जजपा सरकार में हुए शराब घोटाल, रजिस्ट्री घोटाले और चावल घोटाले में करोडों रुपयों की लूट की गई है। बीते चार महीनों में कोरोना महामारी के कारण लगाए गए लॉकडाउन क बीच शराब घोटाले मे हजारों करोड की शराब बिक्री व तस््करी की परत लगातार खुल रही ह। इस घोटाल मे शराब माफिया के तार उच्च पदों पर बैठे राजनेताओंं तथा आला अधिकारियों से जुडे हैं। शराब घोटाला उजागर होने क बाद इसे दबाने की ही साजिश थी ।
मुख्यंमत्री मनोहर लाल खट्टर ने एसआईटी की जांच को सिरे से खारिज कर इसकी जगह एसई टी का गठन कर दिया था। जिसके पास इस घोटाले की तह तक जाने की शक्तियां ही नहीं थी। इसकी जांच गहनता से होना चाहिए। ज्ञापन में कहा गया कि इस घोटाले की ननष्पक्ष तरीके से जांच होती है तो इसमें कई और लोगों की मिलीभगत और घोटाल की परी सच्चाई सामन आ सकेगी। इसके अलावा हरियाणा में अवधै तरीके से रजिस्ट्रियों का खेल कोरोना महामारी में जमकर खेला गया।
रजिस्ट्रियां करते समय न तो नियमों का ध्यान रखा गया और न ही जिला नगर योजनाकारों (डीटीपी) से एनओसी) मिलए गए। प्रदेश के 30 से ज्यादा शहरी निकायों के कंट्रोल एरिया में हई रजिस्ट्रियों में गडबडिय़ां पाई गई हैं। इन रजिस्ट्रियों में करोडों रुपयों के घोटाले को अंजाम दिया गया। आरोप लगाया जाता है।
प्रदेश में शराब और रजस्ट्रिी घोटाले के अलावा चावल घोटाले को भी अंजाम दिया गया। सरकार राइस मिलरों को कांट्रैक्ट के तहत जीरी उपलब्ध कराती है। मिलरों को इसका चावल निकालकर सरकार को देना होता ह। यह धान का करीब 67 प्रतिशत होता है। लेकिन सरकार को कम मात्रा में चावल जमा करवाया गया और बडा गोलमाल कर घोटाला किया गया। लॉकडाउन के दौरान चावल महग दामों मे मार्कीट मे बैचे गए।
यह घोटाला अनुमाननत 100 करोड से अधिक का है। यदि निष्पक्ष तरीके से जांच होगी तो यह घोटाला और भी बडा साबिबत हो सकता है। इनके अलावा भी बीते छह वषों क दौरान इस सरकार म कई घोटाल हए ह।
इन घोटालों जमीन खरीद घोटाला, अरावली भूम उपयोग घोटाला, खनन घोटाला, रोडवेज किलोमीटर योजना घोटाला, एचएसएससी भती घोटाला, एससी छात्रब्रत्ति योजना घोटाला, बिजली मीटर घोटाला शामिल हैं। इनके साथ ही इस सरकार मे हए घोटालों की लंबी सूची है।