November 2, 2024

करनाल : मतदाता शिक्षा और चुनावी भागीदारी के लिए करनाल में मण्डल स्तरीय मतदाता जागरूक कार्यक्रम का हुआ आयोजन , पानीपत , कैथल , करनाल के निर्वाचन अधिकारीयों सहित विभिन्न कालेज स्टाफ और छात्र रहे मौजूद , मतदाता जागरूकता विडियो की भी लॉंचिंग की गई ।

विधानसभा चुनाव की घोषणा के बाद चुनावी गतिविधियों ने जोर पकड़ लिया है। इसी बीच आज का दिन स्वीप यानि व्यवस्थित मतदाता शिक्षा और चुनावी भागीदारी के लिए रहा।

लघु सचिवालय के सभागार में इसे लेकर मण्डल स्तरीय मतदाता जागरूक कार्यक्रम का आयोजन कर उपायुक्त एवं जिला निर्वाचन अधिकारी विनय प्रताप सिंह के अतिरिक्त स्वीप के नोडल अधिकारी एवं अतिरिक्त उपायुक्त अनीश यादव, करनाल विधानसभा क्षेत्र के आरओ नरेन्द्र पाल मलिक के व्याख्यान के साथ-साथ मतदाता जागरूकता विडियो की भी लॉंचिंग की गई, जिसमें सबसे महत्वपूर्ण विषय वोट बनवाने और उसका प्रयोग करने पर ज्यादा फोकस रहा।

कार्यक्रम में करनाल सहित इस मण्डल के पानीपत से अतिरिक्त उपायुक्त प्रीति, कैथल के डीडीपीओ जसविन्द्र सिंह के अतिरिक्त केवीए डीएवी महिला महाविद्यालय की छात्राओं और उनके इंचार्ज, प्राध्यापक तथा चुनावी गतिविधियों से जुड़े अधिकारी व कर्मचारियों की मौजूदगी रही।

उपायुक्त एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों ने विषय की गम्भीरता को समझाने के मकसद से एक पात्र व्यक्ति को अपना वोट बनवाना और उसका प्रयोग करना क्यों जरूरी है, इस पर लम्बी चर्चा की। उन्होंने कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा व सफल लोकतंत्र है।

इसकी विशेषता यह है कि यहां बड़ा हो या छोटा, गरीब हो या अमीर, हर पात्र व्यक्ति को वोट बनवाकर उसके प्रयोग का अधिकार है, जिससे प्रतिनिधि चुने जाते हैं और सरकार बनती है, जो अपने नागरिकों के लिए विकास योजनाएं बनाती हैं। उन्होंने कहा कि हमारी दिनचर्या में हम पोल्टिक्स से अछूते नही और जिंदगी के हर पहलू में पोल्टिक्स या गवर्नेंस का प्रभाव रहता है।

बावजूद इसके यदि हम वोट नहीं करते, तो हम अपनी नैतिक जिम्मेदारी को खो देते हैं और नाहक ही सिस्टम को कोसने लग जाते हैं। वोट बनवाने के लिए पात्र महिलाओं की बात करते हुए उन्होंने कहा कि ऐसा सोचना कि विवाहित होने के बाद लड़की अथवा महिला ससुराल में जाकर वोट बनवा लेगी, गलत है। सही यह है कि जैसे ही 18 वर्ष की आयु हो, महिला को अपना वोट बनवा लेना चाहिए, जब वह ससुराल में जाएगी, तो अपना पहले का वोट कैंसल करवाकर दूसरी जगह बड़ी आसानी से अपना वोट बनवा सकती है।

वैसे भी महिलाओं को देश की आधी आबादी कहा गया है, इसलिए लोकतंत्र में भागदारी इतनी ही जरूरी है, जितनी पुरूषों की।

उन्होंने आगे कहा कि आज भी वोट का अधिकार सभी मुल्को में नहीं है, कहीं लैंगिक भेदभाव, कहीं अमीरी-गरीबी, शिक्षा के बेस पर और कहीं तानाशाही से मुल्क चल रहे हैं। जबकि भारत में हर 18 वर्ष की आयु पूरी करने वाले व्यक्ति को वोट बनवाने और उसका प्रयोग करने का अधिकार प्राप्त है। इसलिए वोट बनवाना बहुत जरूरी है।
स्वीप के नोडल अधिकारी एवं एडीसी अनिश यादव ने बताया कि स्वीप के तहत जिला के मतदाताओं को ईवीएम की जानकारी देने पर फोकस रहेगा।

उन्होंने बताया कि लोकसभा चुनाव के बाद विधानसभा चुनाव में भी ईवीएम में वीवीपैट मशीन रहेगी, ताकि कोई भी वोटर अपना वोट करने के बाद उसकी वैरीफिकेशन कर सके। उन्होंने बताया कि ईवीएम को हैक नहीं किया जा सकता। इसके बारे में किसी को भी भ्रांति नहीं होनी चाहिए।

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