November 22, 2024

करनाल (भव्य नागपाल): सोमवार को गुजरात और हिमाचल प्रदेश में हुए चुनावों के नतीजें घोषित हुए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गृह राज्य होने के कारण पूरे देश की नज़र गुजरात पर थी जहाँ भाजपा काफी हद तक कामयाब रही। अंतिम नतीजें घोषित होने तक 182 सीटों वाली गुजरात विधानसभा में भाजपा 99 सीटों पर सिमट गई जबकि कांग्रेस ने सहयोगियों संग 80 सीटों पर जीत हासिल की। इस लिहाज़ से भाजपा को 2012 के हिसाब से कुल 16 सीटों का नुकसान हुआ और दूसरी तरफ कांग्रेस को 19 सीटों का फायदा मिला। यहां मालूम हो कि गुजरात में भाजपा पिछले 22 सालों से सत्ता में है। भाजपा को मिली जीत पर प्रधानमंत्री ने दिल्ली में पार्टी मुख्यालय में पार्टी कार्यकर्ताओं को बधाई दी और कहा, “मैं सबसे पहले गुजरात और हिमाचल की जनता को शत शत नमन करता जिन्होंने विकास के रास्ते को चुना। विकास के मार्ग से ही जन सामान्य की समस्याओं का समाधान होगा। जब उत्तर प्रदेश में महानगर, पालिका के चुनाव चल रहे थे तो बड़े जोर से कहा जा रहा था कि जीएसटी के कारण यूपी के शहरों में बीजेपी खत्म हो जाएगी। गुजरात के चुनाव के पहले भी इसी प्रकार की अफवाहों का जोर था। पिछले दिनों महाराष्ट्र में भी जीएसटी के बाद निकाय के चुनाव हुए, वहां भी बीजेपी को समर्थन मिला। देश रिफॉर्म के लिए तैयार है। ये चुनाव लगातार दिखा रहे हैं. लोकतंत्र में सरकार के काम का लेखा-जोखा होता है. आज देश में खासकर मिडिल क्लास में अपेक्षा बढ़ी हैं, जल्द अपेक्षाएं पूरी हों।” वहीं कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट कर अपनी हार स्वीकार की।

इन चुनावों में “गुजरात के तीन युवा” के नाम से चर्चा में रहे हार्दिक, अलपेश और जीगनेश कहीं हद तक भाजपा का वोटबैंक बिगाड़ने में कामयाब रहे। पाटीदार आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल चुनाव तो नही लड़ रहे थे लेकिन कांग्रेस को आरक्षण हासिल करने के लिए समर्थन दे रहे थे। 83 सीटों पर निर्णायक रहे पटेल वोटबैंक भाजपा को काफि नुकसान दिया जिस कारण सरकार में रहे बहुत से पटेल मंत्री हार गए। वहीं कांगेस की टीकट पर लड़ रहे ओ.बी.सी. नेता अल्पेश ठाकोर ने 15000 वोटों से राधनपुर सीट से और दलित नेता जिग्नेश मेवाणी ने वडगीम की सीट 19,696 वोटों से जीती। मुख्यमंत्री विजय रूपाणी राजकोट की पश्चिमी विधानसभा सीट से कांग्रेसी उम्मीदवार इंद्रनील राजगुरु को 25 हजार से अधिक वोटों से हराया लेकिन भाजपा प्रधानमंत्री मोदी के गृहक्षेत्र वडनगर में हार गई।

वहीं दूसरी तरफ़ हिमाचल प्रदेश में भाजपा, कांग्रेस को खदेड़ने में कामयाब रही। हिमाचल प्रदेश में बीजेपी ने 44 सीटों के साथ स्पष्ट बहुमत हासिल कर लिया है पर बीजेपी के सीएम पद के उम्मीदवार प्रेम कुमार धूमल के हाथ से सीएम की कुर्सी निकल गई। सुजानपुर सीट पर बीजेपी के सीएम पद के उम्मीदवार प्रेम कुमार धूमल कांग्रेस के उम्मीदवार राजिन्दर सिंह से हार गए हैं। कांगेस 68 में से मात्र 21 सीटें ही हासिल कर सकी। धूमल की हार और सीएम के नाम पर बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने कहा, “हम लोगों की भावना का सम्मान करते हैं. आज पार्टी की बोर्ड मीटिंग में फैसला लिया जाएगा. वहीं हार के बाद प्रेम कुमार धूमल ने कहा कि उनकी व्यक्त‍िगत हार मायने नहीं रखती है, पार्टी की जीत ज्यादा महत्वपूर्ण जीत है. धूमल ने कहा कि हार जीत जिंदगी का हिस्सा है।” दूसरी तरफ कांग्रेस से मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह और उनके बेटे को जीत हासिल हुई।

वहीं, मंडी में पंडित सुखराम फेक्टर पूरी तरह से काम किया है। पंडित सुखराम की बदौलत ही मंडी में कांग्रेस को भारी हार का सामना करना पड़ा है। भाजपा में जाने के बाद पहली बार उनके अपने बेटे और सलमान खान की बहन के ससुर अनिल शर्मा ने जीत दर्ज की है, जबकि मंडी जिला के सभी 10 विधानसभा सीटों में से 9 सीटों पर बीजेपी ने अपना कब्जा जमाया है। दूसरी तरफ, राजनीति के चाणक्य माने जाने वाले पंडित सुखराम ने एक बार फिर यह साबित कर दिया है कि राजनीति में उनकी अनदेखी अभी भी नहीं की जा सकती है। 1998 में कांग्रेस से बाहर होने के बाद पंडित सुखराम ने हिमाचल विकास कांग्रेस का गठन कर मंडी में 5 सीटें हासिल कर प्रदेश में भाजपा की सरकार बनवाई थी। अब 2017 में पंडित सुखराम ने अपने बेटे अनिल शर्मा व पोते आश्रय शर्मा के साथ भाजपा ज्वॉइन कर एक बार फिर भाजपा को सत्ता दिलाई है। जोगिंदर नगर सीट पर इंडिपेंडेंट प्रत्याशी राजेंद्र राणा की जीत हुई है। फिलहाल सी.एम. के नाम पर अभी ससपेंस है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.